वक्रतुण्ड महाकाय मंत्र


वक्रतुण्ड महाकाय सूर्यकोटि समप्रभ ।
निर्विघ्नं कुरु मे देव सर्वकार्येषु सर्वदा॥



अर्थ: “हे हाथी के जैसे विशालकाय गणेश, जिनका तेज सूर्य की सहस्त्र किरणों के समान है, सदा मेरे सभी कार्य बिना किसी विघ्न के पूर्ण करें।"